रेलवे टिकिट माफिया को यूपी पुलिस ने दबोचा

  • मुंबई पुलिस को भी थी तलाश



पुलिस अधीक्षक बस्ती हेमराज मीणा ने शमशेर को लेकर की प्रेस।


मनोज श्रीवास्तव/लखनऊ।टेरर फंडिंग में ई-टिकटिंग के सरगना हामिद का नाम सामने आने के बाद चलाए जा रहे अभियान में एक बड़ी सफलता हाथ लगी है। 25 हजार का इनामी शमशेर आलम को स्वाट, आरपीएफ और पुलिस की संयुक्त टीम ने गिरफ्तार कर लिया है। शमशेर के पास एक फॉर्च्यूनर कार, छह लाख नगद, एक लैपटाप बरामद हुआ है।यह जानकारी एसपी हेमराज मीणा ने जानकारी दी। उन्होंने बताया कि चेकिंग अभियान के क्रम में इनामी अपराधी को बस्ती के पटेल चौराहा से शुक्रवार सुबह गिरफ्तार किया गया। उससे पूछताछ में 10 बैंक खाते का पता चला, जिसमें एक वर्ष में जामा धन राशि करीब पांच करोड़ है। उसके सभी बैंक एकाउंटों का डिटेल मंगाया जा रहा है। इंटर पास शमशेर आलम ने अवैध धन से जमीन व अन्य चल-अचल संपत्तियां खरीदी हैं, जिसकी जांच शुरू हो गई है। उन्होंने बताया कि शमशेर आईआरसीटीसी के ई-टिकट के तत्काल व ओपनिंग टिकटों के आरक्षण के लिए सरकार की ओर से आम जनता की सुविधा को जारी व्यक्तिगत आईडी के समानांतर बड़ी संख्या के फर्जी आईडी तैयार कराता था। जिसको वह अपने अवैध साफ्टवेयर के माध्यम से एक ही समय पर एक ही कंप्यूटर से अनेकों लॉगिंग कर लेता था। ट्रैवल प्लान सिक्योरिटी कैप्चर व बैंक डिटेल्स ऑटोफिल व बाईपास कर सैकड़ों की संख्या में ई-टिकट बनाकर जरूरतमंदों को दोगुने-तिगुने दामों पर बेचता है। इस साफ्टवेयर को पूरे देश में टिकट एजेंटों को मासिक किराए पर उपलब्ध कराता। शमशेर पर दादर मुंबई में आरपीएफ के ओर से, सीआईवी ने आईटी एक्ट के तहत बंगलूरू में, रेलवे एक्ट के तहत खोड़ारे गोंडा, बस्ती में कुल पांच मुकदमे दर्ज हैं। गिरफ्तार करने वाली टीम में प्रभारी स्वॉट टीम निरीक्षक राजेश कुमार मिश्रा, प्रभारी सर्विलांस सेल उप निरीक्षक दिनेश कुमार सरोज और प्रभारी रेलवे सुरक्षा बस्ती नरेंद्र यादव शामिल रहे।